मानव शरीर में किडनी बहुत महत्वपूर्ण अंग है, शरीर को सुचारू रूप से चलाने के लिए किडनी का बहुत बड़ा योगदान रहता है। आज-कल के समय में जीवनशैली के बदलते प्रभावों को देखते हुए लोगों में पहले की तुलना में ज्यादा किडनी की सभी समस्याएँ पनपने लगीं हैं। ऐसे लोग आज यह जानना चाहते हैं कि Kidney failure यानि किडनी ख़राब होने के लक्षण, कारण और चरण क्या होते हैं।
अगर आप उन समस्याओं को शुरु होने से पहले ही पहचान लेतें हैं तो उनका सामना करना और किडनी की खराबी का इलाज भी सरल हो जाता है। अगर आपके मन में भी किडनी खराब होने को लेकर कोई शक या शंका है, तो वे इस आर्टिकल के माध्यम से दूर हो जाएँगी।
सामान्यत: किडनी की विफलता को दो मुख्य भागों में बाँटा गया है- अल्पकालीन किडनी विफलता (Acute kidney injury, AKI) और दीर्घकालीन किडनी विफलता (Chronic kidney disease, CKD)। जो भी किडनी की विफलताएँ होती है वे इन्ही के अंतर्गत आती हैं। क्या होतें हैं अल्पकालीन किडनी विफलता (AKI)) और दीर्घकालीन किडनी विफलता (CKD )।
अल्पकालीन किडनी विफलता (Acute kidney injury, AKI)
(AKI) किडनी(गुर्दे) को हुई ऐसी क्षति होती है जो कुछ निर्धारित समय कुछ घंटों या कुछ दिनों के लिए होती है। इस रोग के कारण किडनी अपना काम- रक्त से बेकार पदार्थों को अलग करना और शरीर में पानी की मात्रा का संतुलन बनाए रखना नहीं कर पाती। (AKI) के मुख्य कारण कोई बड़ी सर्जरी, गंभीर एलर्जी, सूजन, सिरदर्द, सर्दी, फ्लू, और अन्य बीमारियों में दर्द को दूर करने के लिएदर्दनाशक दवाओं जैसे- इबुप्रोफेन, केटोप्रोफेन और नेप्रोक्सन का अधिक प्रयोग करना, दिल का दौरा, जिगर की विफलता,रक्त या पानी की कमी हो जाना, निम्न रक्तचाप (हाइपोटेंशन) या कोई सदमा है।
अल्पकालीन किडनी विफलता (Acute kidney injury, AKI) के लक्षण लोगों में अलग-अलग हो सकते हैं लेकिन इसके कुछ सामान्य लक्षण हैं-
- कम पेशाब आना
- पैरों और शरीर के अन्य हिस्सों में सूजन
- थकान
- किडनी की कार्यक्षमता में कमी आने के कारण शरीर में एसिड लोड का बढ़ना
- रक्त में पोटेशियम की अधिक मात्रा हो जाना
- फेफड़ों में पानी भर जाना (pulmonary edema)
- साँस फूलना
इसके अलावा इस रोग की गंभीरता के हिसाब से कोमा जैसी स्थिति भी आ सकती है।
दीर्घकालीन किडनी विफलता (Chronic kidney disease, CKD)
(CKD) को किडनी की गंभीर बीमारी कहा जाता है क्योंकि यह बीमारी जल्दी से अपने लक्षण नहीं दिखाती है। दिखाती है तो तब, जब किडनी लगभग 70 से 80 प्रतिशत खराब हो चुकी होती हैं।(CKD)में किडनी खराब होने की प्रक्रिया बहुत धीमी होती है, जो महीनों या सालों तक चलती है।किडनी मुख्य रूप से eGFR (Estimated glomerular filtration rate) ग्लोमेरुलर निस्पंदन की क्रिया करती है और इसी क्रिया की दर को मापकर डॉक्टर किडनी की विफलता के चरण को निर्धारित करते हैं।इस स्थित मेंडॉक्टर रक्त क्रिएटिनिन परीक्षण (Blood creatinine test), आपकी आयु और आपके शरीर के आकार, लिंग के हिसाब से इसकी गणना करता है। eGFRडॉक्टर को किडनी की विफलता के तत्काल चरण की जानकारी देता है जो डॉक्टर को उपचार की योजना बनाने में मदद करता है।
किडनी खराब होने की इस प्रक्रिया को पाँच चरणों में बाँटा गया है। भारत में हर साल लगभग 3,00,000 लोगों को एंड-स्टेज किडनी फेल्योर (किडनी विफलता के अंतिम चरण) का पता चलता है।उनमें से लगभग 80% अगले एक साल में मर जाते हैं, केवल 10-15% को डायलिसिस का इलाज मिल पाता है। डायलिसिस दो प्रकार की होती हैं, पेरिटोनियल डायलिसिस और हीमोडायलिसिस और यही दोनों किडनी की विफलता का इलाज है।
CKD का पहला चरण
पहले चरण में किडनी की कार्यक्षमता 90 – 100 % होती है। इस चरण में eGFR 90 मि.ली. प्रति-मिनिट से ज्यादा रहता है। इस चरण में मरीज को लक्षण दिखने शुरू नहीं होते हैं। हालांकि पेशाब में असामान्यताएँ दिखती हैं, जैसे पेशाब में प्रोटीन आना।CKDके इस चरण का एक्य-रे, एम.आर.आई., सी. टी. स्कैन या सोनोग्राफी जैसी जाँचों के माध्यम से मूल्यांकन किया जा सकता है।
CKD का दूसरा चरण
इस चरण में eGFR 60 से 89 मि.ली. प्रति-मिनिट होता है। इस चरण के मरीजों में सामान्य तौर पर किसी भी प्रकार का कोई लक्षण नहीं दिखता। हालांकि कुछ मरीजों में रात में बार-बार पेशाब जाने या उच्च रक्तचाप होने जैसे लक्षण दिखाई दे सकते हैं। इसकी जाँचों में पेशाब में प्रोटीन आनाया रक्त जाँच (Blood test) में सीरम क्रीएटिनिन (Serum creatinine) की थोड़ी बढ़ी मात्रा हो सकती है।
CKD का तीसरा चरण
इस चरण मेंeGFR 30 से 59 मि.ली. प्रति-मिनिट होता है। इस चरण के लक्षण भी दूसरे चरण के ही समान होते हैं।इसकी जाँचों में पेशाब में असमान्यताएँया रक्त जाँच (Blood test) में सीरम क्रीएटिनिन (Serum creatinine) की थोड़ी बढ़ी मात्रा हो सकती है।
CKD का चौथा चरण
क्रोनिक किडनी डिजीज के चौथे चरण मेंeGFR 15 से 29 मि.ली. प्रति-मिनिट तक की कमी आ जाती है। इस चरण में हल्के लक्षण सामने आने लगते हैं ये लक्षण बहुत तेज भी हो सकते हैं। इस चरण के लक्षण किडनी की विफलता (Kidney Failure) और उससे जुडी बीमारी पर निर्भर करते है।
CKD का पाँचवां चरण
CKD का पाँचवां चरण बहुत गंभीर होता है इसी चरण को किडनी विफलता का अंतिम चरण (End Stage Kidney Disease) भी कहा जाता है। इसमें eGFR 15 मि.ली. प्रति-मिनिट से कम हो सकता है। इसे CKD(क्रॉनिक किडनी डिजीज) का अंतिम चरण भी कह सकते हैं। यह किडनी विफलता का वह चरण होता है जिसमें मरीज को डायालिसिस या किडनी प्रत्यारोपण (Kidney Transplant) की जरूरत पड़ सकती है और यही वह चरण होता जब विशेषज्ञ किडनी के मरीज के लिए डाइट चार्ट का पालन करना जरूरी कर देता है । इस चरण में लक्षण साफ और तेज दिखाई देते हैं,अंतिम चरण के लक्षण भिन्न-भिन्न हो सकते हैं,
हालांकि सामान्य तौर पर लक्षण हैं-
- खाने का मन न करना, उल्टी, उबकाई आना
- लगातार कमजोरी महसूस होना, वजन घट जाना
- बिमारी के बढ़ते-बड़ते पूरे शरीर में सूजन आ जाना जिकी वजह से वजन बढ़ा हुआ लगना।
- सुबह सो कर उठने पर आँखों के चारों तरफ और चेहरे पर सूजन मिलना
- थकावट महसूस होना, साँस फूलना
- खून में फीकापन और खून की कमी (एनीमिया) हो जाना
- शरीर में खुजली होना
- पीठ के निचले हिस्से में दर्द होना
- रात के समय सामान्य से ज्यादा पेशाब जाना (nocturia)
- याद्दाश्त कमजोर हो जाना, नींद की आदतों में बदलाव होना
- दवा के बावजूद भी उच्च रक्तचाप नियत्रण में न होना
- स्त्रियों के मासिक चक्र में अनियमितता आना और पुरुषों में नपुंसकता का होना
- किडनी में बनने वाला विटामिन ‘डी’ का कम बनना, जिसके कारण हड्डियाँ कमजोर हो जाती हैं।
किडनी की खराबी के लक्षण
किडनी शरीर का इतना मजबूत अंग है कि जब तक 70 से 80 प्रतिशत तक काम करना बंद न करदें तो हमें पता ही नहीं चलता। हालांकि छोटे-मोटे लक्षण सामने आते हैं जिन्हें हम सामान्य समझकर नजरअंदाज कर देते हैं। किडनी खराब होने से पहले कुछ संकेत देती हैं जिन्हें हमें हल्के में न लेकर तुरंत कोई संभव जाँच या डॉक्टर को दिखाना चाहिए।
क्या हैं खराब किडनी द्वारा दिए गए वे संकेत जानिए-
- खून की कमी (एनीमिया) और कमजोरी
जल्दी थकान लगना, शरीर में पीलापन, किडनी की खराबी के शुरुआती लक्षण हैं। अगर उपचार से एनीमिया ठीक नहीं हो रहा है तो, यह किडनी की खराबी का संकेत हो सकता है।
- चेहरे और शरीर पर सूजन आना
चेहरे, पेट और पैरों में सूजन, किडनी की बीमारी का संकेत है। लेकिन यह ध्यान में रखना चाहिए कि जरूरी नहीं है सूजन, किडनी की खराबी का ही संकते है। रोगियों में सूजन को लेकर अलग-अलग मत हो सकते हैं।
- भूख न लगना, उल्टी आना
भूख की कमी, मितली, उलटी, मुँह के स्वाद में बदलाव आना आदि किडनी की खराबी का आम लक्षण हैं। किडनी की कार्यक्षमता में कमी का कारण शरीर में विषाक्त पदार्थों की मात्रा बड़ जाती है। जिसकी वजह से मितली, उलटी, जी मचलाना और मरीज को हिचकियाँ भी आती है।
- उच्च रक्तचाप
किडनी की खराबी के कारण मरीज को उच्च रक्तचाप होना एक आम लक्षण है। अगर उच्च रक्तचाप 30 साल से कम उम्र में हो जाये या किसी भी उम्र में रक्तचाप बहुत अधिक है तो इसका कारण किडनी रोग हो सकता है।
- पेशाब संबंधी बदलाव
किडनी की खराबी में सबसे पहले पेशाब संबंधी बदलाव आते हैं। जैसे- पेशाब का रंग बदल जाना, मात्रा में कमी आ जाना, सामान्य से ज्यादा पेशाब आना, पेशाब में जलन होना, पेशाब में खून या पस आना और गंभीर स्थति में पेशाब आना बिल्कुल बंद हो जाना।
- अन्य लक्षण
उरोक्त लक्षणों के अलावा भी रोगियों में कई और लक्षण देखे जाते हैं जैसे- पीठ के निचले हिस्से में दर्द होना, पैरों में ऐंठन, शरीर में दर्द, फेफड़ों में पानी भर जाना, सांस लेने में तकलीफ,दिल की कार्यक्षमता कमजोर हो जाना, औरमस्तिष्क पर प्रभाव आदि।
किडनी खराब होने के कारण
आज-कल की बदलती जीवनशैली ने न सिर्फ हमारे जीवन में बदलाव किए हैं बल्कि हमारे शरीर और किडनी पर भी इस जीवनशैली के प्रभाव पड़ें हैं। आज के संदर्भ में किडनी की विफतला अधिक देखने को मिल रहीं हैं।
किडनी की विफलता के कई कारण हो सकते हैं जैसे-
- कई तरह की एंटी-बायोटिक दवाएँ, मधुमेह (diabetes) और उच्च रक्तचाप भी किडनी विफलता का मुख्य कारण हैं।
- किडनी में अगर खून का पहुँचना अचानक बंद हो जाए या कमी आ जाए तो किडनी की विफलता का खतरा बढ़ जाता है। खून कम पहुँचने की स्थितियाँ दिल का दौरा पड़ना, दिल की बीमारी, जिगर की विफलता (Heart fail), पानी की कमी, सेप्सिस जैसा कोई गंभीर संक्रमण और उच्च रक्तचाप हैं। या पॉलीसिस्टिक किडनी रोग (PKD) होना।
- मूत्र संबंधी समस्याओं को भी किडनी खराब होने का कारण माना गया है। जब हमारा शरीर मूत्रत्याग नहीं कर पाता तो कई विषाक्त पदार्थ किडनी पर जोर डालते हैं। इससे कभी-कभी ये पदार्थ मूत्र मार्ग और अन्य अंगों को रोक देते हैं जैसे- प्रोस्टेट (पुरुषों में सबसे आम प्रकार), पेट, सर्वाइकल (ग्रीवा), मूत्राशय।
- इलके अलावा अन्य स्थितियों में पेशाब में रुकावट हो सकती है जिससे किडनी की विफलता हो सकती है, जिसमें शामिल हैं- पथरी, प्रोस्टेट ग्रंथी का बढ़ना, मूत्र पथ में रक्त के थक्के जमना।
- ल्यूपस, एक ऑटोइम्यून बीमारी जो शरीर के कई अंगों जैसे- हृदय, फेफड़े, किडनी और मस्तिष्क को भी प्रभावित करती है। यह किडनी में सूजन पैदा कर सकती है जिससे किडनी की विफलता होने का खतरा रहता है।
- मल्टीपल मायलोमा (अस्थि मज्जा में प्लाज्मा कोशिकाओं का एक कैंसर) जैसी बीमारी भी किडनी विफलता का कारण बन सकती है। या किडनी में कोई संक्रमण हो जाना।
- कीमोथेरेपी जैसी इलाज प्रणालियाँ (कैंसर और कुछ ऑटोइम्यून बीमारियों का इलाज करती हैं) भी किडनी पर प्रतिकूल प्रभाव डालती हैं।
Kaise elaj kare
किडनी स्पेशलिस्ट को दिखाइए। डरने वाली बात नहीं है। इलाज हो सकता है।
भूख न लगना उल्टी होना सिर दर्द रहना शरीर पीला पीला दिखना सरीर कमजोर होना
किडनी स्पेशलिस्ट को दिखाइए। इलाज हो सकता है।
Sir mera cretina thoda bada hua hai aaj rat ko peshab jayada aaya yeh kya lakshan hai
किडनी स्पेशलिस्ट को दिखाइए। इलाज हो सकता है।
5 Saal pehle meri ek kidney kharab ho gyi ti jise nikal diya gya aur ab meri ek hi kidney h lekin mujhe kbhi kbhi kuch dikkate hoti h
Jese pesab din 4 se 5 baar aana aur kabhi kabhi pesab Der se utarna
To kya ye sb samanya h ya meri dusri kidney me bhi koi dikkat h
Plz mail me any doctor
किडनी स्पेशलिस्ट को दिखाइए।
टेस्ट करने से दूसरा किडनी कितना काम कर रहा है पता चलेगा।
आहार चिकित्सक टिकेन्द्र वर्मा आहार चिकित्सक हॉस्पिटल – 18/4 near kusum kanan garden, nehru nagar east, Bhilai- Durg, Chhattisgarh– 400020 , और क्लिनिक :-मलाड वेस्ट मुम्बई। मोबाईल–7715881780.
*मरीजों के वीडियो* – https://www.youtube.com/@nutritiontherapistbhilai/videos
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सांस फूलना, शरीर में भारीपन, थकान, पीठ के पीछे अंदर दर्द, पैर सुन्न, in sab लक्षणों से क्या किडनी फैल होने की शिकायत है?
हो सकते हैं लेकिन टेस्ट करके पुष्टि करना चाहिए।
Sir main sarab pita hu pair main suhai hai Raat main thik ho jati hai kiya Karan ho sakta hai
Kaaran anek ho sakte hain. Doctor ko dikhake jaanch kijiye.
Sir mere peeth k nichle hisse m dard rahta hai raat ko sote waqt jayda rahta h ye abhi hua h.
Dekhe bina batana mushkil hai. Doctor ko dikhayen.
Dr, Sahab Meri Nani 62 saal ki hi unki Dono kidney damage ho gayi hai. Ek kidney ko 90 % kaam karna chahiye, lekin wo 52% kaam kar Rahi hai, Unki Puri body par swelling aa rahi h bahut zyada, aur unka wait bhi badh raha hai. Plz tell me ki kya kre hum, rpl me fast. It’s very argent
Thik se ilaaj karna zaroori hai. Mareej ko dekhe bagair salah dena galat hoga. kidney doctor ko dikhake ilaaj karaiye.
Sir mujhe peeth ke nichle hisse me tej dard hota aur aaj to pesab se thoda sa pas bhi aya hai kya dikkat hai sir please batayen
किडनी डॉक्टर को दिखाइये । Infection हो सकता है।
Mujhe bar bar pesab Jana parta hai test me sab kuch normal ata hai Kya karan ho sakta bataye mera age 35hai
73 % kidney damage hai. Kya ye work karegi aage sahi. Kya kare